glory of the name of lord (1)

Glories of the name of Lord from all 18 Purana

 

Glory of the Name of Lord -

पद्मपुराणे श्रीशिववाक्यं पार्वतीं प्रति:

पद्मपुराण में श्रीशिवजी का वाक्य पार्वती जी के प्रति:

नामचिन्तामणी रामश्चैतन्यपरविग्रहः ।

पूर्ण शुद्धो नित्ययुक्तो न भेदो नामनामिनः ॥३॥

श्रीरामनाम महाराज चिन्तामणि हैं अर्थात् चिन्तनमात्र से समस्त अभीष्ट पदार्थों को प्रदान करने वाले हैं तथा श्रीरामजी साक्षात् सच्चिदानन्दस्वरूप हैं दोनों पूर्ण पवित्र एवं नित्ययुक्त हैं नाम और नामी में भेद नहीं है।

अतः श्रीरामनामादि न भवेद् ग्राह्यमिन्द्रियै ।

स्फुरति स्वयमेवैतिञ्जह्लादौ श्रवणे मुखे  ॥

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